सिलीगुड़ी:- सेवक हाउस मामले के मुख्य आरोपित -प्रदीप राय को भक्ति नगर थाने की पुलिस ने शनिवार को सिलीगुड़ी जंक्शन स्थित बस स्टैंड से उस समय गिरफ्तार किया जब वह शहर छोड़कर अन्यत्र भागने की फिराक में था। रविवार को उसे जलपाईगुड़ी जिला अदालत में पेश किया जाएगा।घटना के 14 दिनों के भीतर मुख्य आरोपित समेत इस मामले में 10 लोगों को पुलिस गिरफ्तार कर चुकी है। हमलावरों के दल में नौंवे आरोपित को पुलिस ने बीते शुक्रवार की रात को गिरफ्तार किया था। उसकी पहचान नेताजी नगर निवासी आलोक दास उर्फ छोटू के रूप में हुई। उसे शनिवार को जलपाईगुड़ी अदालत में पेश किया गया, जहां से उसे पुलिस रिमांड पर भेज दिया गया है।ज्ञात हो कि पिछले माह 19 मई को भोरपहर आरोपित प्रदीप राय कथित केजीएफ गैंग के 10 से 12 सदस्यों के साथ राम कृष्ण मिशन के सालूगाड़ा स्थित आश्रम सेवक हाउस में दीवार फांद कर घुसे और उपद्रव मचाया। आश्रम प्रबंधन का आरोप है कि हथियारों के बल पर उक्त अराजकतत्वों ने सुरक्षा कर्मी और संतों की पिटाई की और फिर उन्हें जबरन एनजेपी इलाके में सड़क पर छोड़ दिया। 19 मई की शाम को आश्रम प्रबंधन की भक्ति नगर थाना में शिकायत दर्ज कराई। इसके करीब डेढ़ घंटे बाद प्रदीप राय ने भी आश्रम प्रबंधन के खिलाफ एससी, एसटी एक्ट के तहत मामला दर्ज कराया। इस घटना की राष्ट्रीय और प्रदेश स्तर पर निंदा शुरु होते ही पुलिस हरकत में आ गई और पुलिस की सख्ती देख मुख्य आरोपित प्रदीप राय शहर से फरार हो गया। इधर, पुलिस ने केजीएफ गैंग से जुड़े लोगों को गिरफ्तार करना शुरु किया। घटना के चौथे दिन पांच, उसके एक दिन बाद दो, फिर एक और फिर बीते शुक्रवार रात गैंग के सरगना की गिरफ्तारी हुई। इधर, मुख्य आरोपित प्रदीप राय की तलाश में पुलिस कूचबिहार,अलीपुरद्वार, और सिक्किम तक का चक्कर लगा आई, पर वह हाथ नहीं लगा। इसके बाद पुलिस ने उस पर • शिकंजा कसना शुरु किया। उसका बैंक खाता फ्रीज कराया गया। इसके बाद वह रुपए लेने के लिए अपने घर वापस पहुंचा और शनिवार की रात वह फिर से शहर से बाहर निकलने की फिराक में था। इसकी सूचना जैसे ही भक्तिनगर पुलिस को हुई तुरंत ही भक्तिनगर, प्रधाननगर थाना समेत एसओजी की टीम ने उसे सिलीगुड़ी जंक्शन पर स्थित बस स्टैंड से धरदबोचा।इस संबंध में पुलिस सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार आरोपित आलोक दास कथित केजीएफ गैंग का सरगना है। वह पहले विभिन्न बैंकों के लिए लोन रिकवरी एजेंट के रूप में काम करता था। फिर कई बदमाशों की संगत में आने के बाद वह नौकरी छोड़ गैंग में शामिल हो गया।